
टोंक। बीसलपुर बांध का जल स्तर गुरुवार सुबह 8 बजे 315.35 आरएल मीटर के लेवल को पार कर गया। बांध की कुल भराव क्षमता 315.50 आर एल मीटर है। प्रशासन ने बनास नदी के डाउन स्ट्रीम में रहने वाले लोगों के लिए अलर्ट जारी कर दिया है। प्रशासन की ओर से जारी किए गए आदेश में बताया गया है कि पानी की आवक को देखते हुए बांध के गेट कभी भी खोले जा सकते हैं। ऐसे में बनास के डाउन स्ट्रीम बहाव क्षेत्र में आने वाले रास्तों से आवागमन व उनके नजदीक जाने से बचें। बांध के गेट कभी भी खोले जा सकते हैं।
बुधवार दोपहर में बांध के दो गेटों से बतौर टेस्टिंग पानी छोडक़र देखा गया था, जिससे गलतफहमी हो गई थी कि बीसलपुर बांध से पानी की निकासी शुरू हो गई है जबकि उस दौरान बांध के दो गेट कुछ सेमी खोलकर स्काडा सिस्टम, जिससे बांध के गेट खोले जाते हैं व गेटों की टेस्टिंग की गई थी। कुछ देर बाद बांध के दोनों गेट वापस बंद कर दिए गए थे।
बांध का पानी बहकर जाने वाले बनास नदी के डाउन स्ट्रीम के गांवों के आस-पास के लोगों को हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। गुरुवार सुबह 8 बजे तक बीसलपुर बांध का जलस्तर 315.35 आरएल मीटर के स्तर को पार कर गया था। इस बांध की कुल भराव क्षमता 315.50 आर एल मीटर है। इस बांध के बनने से लेकर अब तक यह छठी बार होगा, जब बांध पूरा भरेगा और इसके गेट खोलने पड़ेंगे।

त्रिवेणी में कम हुई पानी की रफ्तार
बांध में मंगलवार के मुकाबले पानी आने की रफ्तार थोड़ी कम हुई है। मंगलवार को बांध में प्रति घंटा पांच से छह सेमी पानी की आवक हो रही थी और त्रिवेणी नदी आठ मीटर के आस पास बह रही थी। बुधवार को बांध में प्रति घंटा ३ सेंटीमीटर पानी की आवक हो रही थी। गुरुवार सुबह त्रिवेणी का गेज 4.20 मीटर के करीब रह गया है। वहीं खारी नदी का गेज 1 मीटर व डाई नदी का गेज 2.40 मीटर पर चल रहा है।
टोंक के जिला कलेक्टर लेंगे निर्णय, खोले गए दो गेट
बांध के गेट खोलने को लेकर प्रशासन समेत बांध परियोजना से जुड़े अधिकारी तैयारी में जुट गए हैं। केंद्रीय टीम के साथ स्थानीय अधिकारियों ने गेट खोलने वाले स्काडा सिस्टम की जांच की। पानी आवक की रफ्तार धीमी होने से गुरुवार सुबह 8 बजे तक बांध के गेट नहीं खोले गए थे। हालांकि बांध के गेट खोलने का आखिरी निर्णय जिला कलेक्टर चिन्मयी गोपाल को ही लेना है।
बांध परियोजना के एसई वीएस सागर ने बताया कि कलेक्टर के आदेश के बाद ही बांध के दो गेट खोले जाएंगे। बांध के गेट खोलने को लेकर पूरी तैयारियां कर ली गई हैं।
छठी बार छलकेगा बीसलपुर बांध
वर्ष 2004 में पहली बार भरा बीसलपुर बांध अब तक 5 बार ओवरफ्लो हुआ है और इसके गेट खोलने पड़े है। इस साल भी बांध पूरा भरने की कगार पर है। बीसलपुर बांध से टोंक, अजमेर और जयपुर जिले के करीब 1 करोड़ लोगों के लिए पेयजल की सप्लाई होती है। रोजाना इस बांध से एवरेज 2 सेंटीमीटर पानी पेयजल की सप्लाई में खपत होता है। इन तीनों जिलों में रोजाना औसत 950 एमएलडी पानी की सप्लाई की जा रही है। 1 एमएलडी में करीब 28 लाख लीटर पानी होता है। बीसलपुर बांध साल 2004 में पहली बार पूरा भरा था। इसके बाद 2006, 2014, 2016 और 2019 में भी ओवरफ्लो हुआ था, जिसके कारण इसके गेट खोलने पड़े थे। अब यह छठी बार पूरा भरने के कगार पर है।
इस बार नहरों में भी छोड़ा जाएगा पानी
बांध छलकने के कगार पर पहुंचने के साथ ही इस साल रबी की फसल के लिए बांध से नहरों में पानी छोड़ा जाएगा। नहरों में छोडऩे के लिए बांध का 8 टीएमसी पानी निर्धारित कर रखा है। नहरों में पानी छूटने से जिले के करीब तीन लाख किसानों की 2 लाख हेक्टेयर जमीन सिंचित होगी।
वाहनों को रोकने के लिए लगाए बैरिकेड्स
बीसलपुर बांध में पानी की आवक तेज होने व गेज पूर्ण जलभराव के करीब पहुंचने के साथ ही देवली उपखंड अधिकारी भारत भूषण गोयल, देवली पुलिस उपाधीक्षक सुरेश कुमार, देवली थानाधिकारी जगदीश प्रसाद मीणा, बांध परियोजना के अधीक्षण अभियंता वीएस सागर, अधिशासी अभियंता मनीष बंसल, सहायक अभियंता प्रतीक चौधरी आदि ने बांध पर पहुंचकर जायजा लिया। देवली थाना अधिकारी जगदीश प्रसाद ने बताया कि बांध के गेट खुलने की संभावना को देखते हुए बांध से करीब पांच किलोमीटर पहले माताजी रावता गांव व टोडा रायसिंह सडक़ मार्ग पर वाहनों की रोकथाम के लिए बैरिकैड्स लगाकर पुलिस जाप्ता तैनात किया गया है।