
जयपुर, 26 सितम्बर। न्यूनतम समर्थन मूल्य का कानून बनाने, तीनों कृषि कानून वापस लेने और श्रम क़ानूनों को बदलकर चार लेबर कोड बनाने के विरोध में संयुक्त किसान मोर्चा के 27 सितम्बर के प्रस्तावित भारत बंद को सफल बनाने के लिए किसान व श्रमिक नेताओं ने आम जन व व्यापारियों का आह्वान किया है।
26 सितंबर को पिंकसिटी प्रेस क्लब में पत्रकारों को संबोधित करते हुए भारतीय किसान यूनियन के प्रदेशाध्यक्ष राजाराम मील, अखिल भारतीय किसान सभा के संयुक्त सचिव डा.संजय माधव, एप्सो के रमेश शर्मा, डा. सीबी यादव, एटक के प्रदेश महासचिव कुणाल रावत, समग्र सेवा संघ के सवाई सिंह, शैलेन्द्र अवस्थी व इन्द्राज मेघवाल ने कहा कि दस महीने से किसान सर्दी, गर्मी व बरसात झेलते हुए बुरे हालात में दिल्ली की सीमाओं पर बैठे हैं। देश में पेट्रोल डीजल व रसोई गैस की क़ीमतों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। कमरतोड़ महंगाई और बेरोजगारी के कारण गरीबों व मध्यम वर्ग की हालत दयनीय होती जा रही है। इन नेताओं का कहना है कि किसानों की लड़ाई अब जन आन्दोलन बन गया है और अब यह केवल फ़सलों व आने वाली नस्लों को बचाने का नहीं रह गया है, अपितु देश के संविधान, लोकतंत्र और लोकतांत्रिक अधिकारों को बचाने का आंदोलन बन गया है।
इसी वजह से संयुक्त किसान मोर्चा, केन्द्रीय श्रमिक संगठनों सहित कई महिला, छात्र, नौजवान एवं सामाजिक व सांस्कृतिक संगठनों ने इस बंद को सफल बनाने की अपील की है।