सर्वव्यापी शिक्षक संगठन को ही मिले मान्यता

Spread the love

राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय के प्रदेश अध्यक्ष ने रखा अपना पक्ष
जयपुर।
राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय के प्रदेश पदाधिकारियों ने बीकानेर में शिक्षक संगठनों की मान्यता के मामले में अपना पक्ष रखा। पदाधिकारियों ने सर्वव्यापी शिक्षक संगठन को ही मान्यता देने की बात कही।
शिक्षक संगठनों को मान्यता के संबंध में निदेशक के समक्ष शिक्षक संघ राष्ट्रीय ने मजबूती से रखा अपना पक्ष रखा। बीकानेर में माध्यमिक शिक्षा निदेशक डॉ. सौरभ स्वामी की ओर से शिक्षक संगठनों को मान्यता देने के संबंध में बुलाई गई बैठक में शुक्रवार को राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय के प्रदेश अध्यक्ष संपत सिंह एवं प्रदेश मंत्री रवि आचार्य ने शिक्षक संगठन को मान्यता देने के संबंध में संगठन की ओर से प्रतिनिधित्व करते हुए मजबूती से अपना पक्ष रखा। प्रदेश मंत्री रवि आचार्य ने यह जानकारी देते हुए बताया कि संगठन का यह दृढ़ मत है कि किसी भी संगठन के मूलाधार के रूप में कार्यकर्ता, कार्यक्रम, कोष और कार्यालय इन चार सूत्रों की पहचान कर आगे बढऩा चाहिए। विभाग में कार्यरत समस्त शिक्षकों के सर्वव्यापी संगठन को मान्यता प्रदान करने पर बल देते हुए प्रदेश अध्यक्ष संपत सिंह ने कहा कि समस्त प्रकार के शिक्षकों का प्रतिनिधित्व करने वाला संगठन समग्र और व्यापक रूप से संपूर्ण विभाग का हितचिंतन करते हुए प्रत्येक संवर्ग की वाजिब मांगों की पुरजोर वकालत करता है जिससे समस्त शिक्षकों का सर्वांगीण विकास हो सकता है । किसी अन्य संवर्ग के हितों पर कुठाराघात कर केवल अपने ही हित की बात करने का एकांगी दृष्टिकोण रखने से समाधान नहीं हो पाता है। इसी दृष्टि से सर्वस्पर्शी संगठन को मान्यता दिया जाना उचित होगा।

पारदर्शी हो मान्यता देने का तरीका

रवि आचार्य ने कहा कि पूर्व में विभाग की ओर से संगठनों को मान्यता देने के लिए कई बार प्रक्रिया प्रारंभ की गई थी किंतु उसका कोई परिणाम नहीं निकला। निदेशक स्वामी ने इस बार प्रारंभ की गई प्रक्रिया को पूर्ण करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता जाहिर की। आचार्य ने बताया कि राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षक संगठनों को मान्यता प्रदान करने के लिए स्वच्छ एवं पारदर्शी तरीके से अपनाई जाने वाली प्रक्रिया का सदैव स्वागत करता है। उन्होंने कहा कि किसी भी संगठन द्वारा कम से कम गत 5 वर्षों का सदस्यता का विवरण, निर्वाचित प्रदेश व जिला कार्यकारणी की सूचियों, बैंक खाता विवरण, सीए की ऑडिट रिपोर्ट आदि दस्तावेज प्रस्तुत करने वाले एवं व्यवस्थित संचालन करने वाले संगठनों को ही मान्यता प्राप्त की प्रक्रिया में भाग लेने की स्वीकृति प्रदान की जानी चाहिए जिससे अगंभीर संगठनों को प्रक्रिया को बेपटरी कर दिए जाने का मौका नहीं मिल सके।

गौरतलब है कि राज्य के शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा की पहल पर शिक्षक संगठनों को मान्यता देने की प्रक्रिया शुरू की गई है। इसमे संपूर्ण राजस्थान के शिक्षक संगठनों को मान्यता देने के शिक्षा विभाग ने बातचीत के लिए बुलाना शुरू किया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *